NIFTEM-K ने IIIT हैदराबाद और IIT हैदराबाद के साथ रणनीतिक समझौतों पर हस्ताक्षर किए: शोध, नवाचार और अकादमिक सहयोग को नई ऊँचाइयाँ

हैदराबाद, 10 अक्टूबर 2025:
राष्ट्रीय खाद्य प्रौद्योगिकी उद्यमिता एवं प्रबंधन संस्थान, कुंडली (NIFTEM-K), जो कि खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्रालय (MoFPI), भारत सरकार के अंतर्गत एक राष्ट्रीय महत्व का संस्थान (Institute of National Importance) है, ने दो प्रतिष्ठित संस्थानों — इंटरनेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ इन्फॉर्मेशन टेक्नोलॉजी, हैदराबाद (IIIT-H) और भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, हैदराबाद (IIT-H) — के साथ रणनीतिक समझौता ज्ञापन (MoUs) पर हस्ताक्षर किए हैं।

इन समझौतों का उद्देश्य शोध, नवाचार, अकादमिक आदान-प्रदान, और मानव संसाधन विकास के क्षेत्रों में उत्कृष्टता को बढ़ावा देना है, विशेष रूप से खाद्य प्रौद्योगिकी, डिजिटल रूपांतरण और संबद्ध क्षेत्रों में।


🔹 समझौते पर हस्ताक्षर करने वाले प्रतिनिधि

ये MoU प्रो. संदीप कुमार शुक्ला (निदेशक, IIIT-H),
प्रो. बी. एस. मूर्ति (निदेशक, IIT-H),
और डॉ. हरिंदर सिंह ओबेरॉय (निदेशक, NIFTEM-K) के बीच औपचारिक रूप से आदान-प्रदान किए गए।

यह साझेदारी इन तीनों संस्थानों की परस्पर विशेषज्ञता और अनुसंधान क्षमताओं को जोड़कर भारत और वैश्विक स्तर पर आने वाली चुनौतियों का अंतरविषयक अनुसंधान और नवाचार के माध्यम से समाधान खोजने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।


🔹 सहयोग के प्रमुख क्षेत्र

  1. शोध एवं विकास (R&D):
    उद्योगों और सरकार द्वारा प्रायोजित संयुक्त परियोजनाओं का विकास। परिणामस्वरूप उत्पन्न होने वाले प्रकाशन, पेटेंट और तकनीकी हस्तांतरण को संयुक्त रूप से स्वामित्व प्राप्त होगा।

  2. क्षमता निर्माण (Capacity Building):
    कार्यशालाओं, सेमिनारों, कॉन्फ्रेंस, संगोष्ठियों और प्रशिक्षण कार्यक्रमों का आयोजन, जिससे खाद्य विज्ञान, खाद्य अभियांत्रिकी, पोस्ट-हार्वेस्ट प्रबंधन, डेटा एनालिटिक्स, और फूड बिजनेस मैनेजमेंट में कौशल का विकास किया जा सके।

  3. इंटर्नशिप और प्लेसमेंट:
    छात्रों के लिए इंटर्नशिप और रोजगार अवसरों को सुगम बनाना, जिससे शैक्षणिक जगत और उद्योग के बीच की खाई को पाटा जा सके।

  4. संयुक्त प्रमाणपत्र कार्यक्रम (Joint Certificate Programmes):
    परस्पर सहमति और आवश्यक अनुमोदनों के तहत ऑनलाइन या ऑफलाइन संयुक्त कार्यक्रमों की शुरुआत, जो उद्योग-तैयार कौशल को प्रोत्साहित करेंगे।


🔹 संस्थान प्रमुख का वक्तव्य

इस अवसर पर डॉ. हरिंदर सिंह ओबेरॉय, निदेशक, NIFTEM-K ने कहा —

“ये सहयोग खाद्य प्रौद्योगिकी, डिजिटल नवाचार और अंतर्विषयक अनुसंधान के बीच की दूरी को कम करेंगे, जिससे छात्रों, शोधकर्ताओं और उद्योगों के लिए नए अवसर सृजित होंगे।”


🔹 भारत के खाद्य नवाचार इकोसिस्टम में नया अध्याय

यह द्विपक्षीय MoU पहल भारत के फूड इनोवेशन इकोसिस्टम को सशक्त बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है।
इससे NIFTEM-K की खाद्य विज्ञान, प्रसंस्करण और उद्यमिता विशेषज्ञता, IIIT-H की तकनीकी उत्कृष्टता, और IIT-H की अनुसंधान दक्षता का समावेश होगा — जो मिलकर भविष्य के टिकाऊ और तकनीक-सक्षम खाद्य समाधानों की नींव रखेंगे।

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